नैनीताल हाईकोर्ट ने गुरुवार को राज्य में ओमिक्रोन और कोरोना संक्रमण के बढ़ते मामलों के चलते विधानसभा चुनाव व रैलियों को स्थगित किए जाने को लेकर दायर जनहित याचिका पर सुनवाई की। कोर्ट ने कोविड महामारी को देखते हुए चुनाव आयोग से स्वयं संज्ञान लेने को कहा है। कोर्ट ने अगली सुनवाई के लिए 15 फरवरी की तिथि नियत की है। सुनवाई कार्यवाहक मुख्य न्यायाधीश संजय कुमार मिश्रा एवं न्यायमूर्ति एनएस धानिक की खंडपीठ में हुई।
गुरुवार को हुई सुनवाई में केंद्रीय चुनाव आयोग ने अपना पक्ष रखते हुए कोर्ट में कहा कि आयोग ने इस संबंध में बीती आठ जनवरी को गाइडलाइन जारी की है। इसमें 15 जनवरी तक चुनाव रैलियां बंद रखी गई हैं। उम्मीदवारों का नामांकन ऑनलाइन होगा। नॉमिनेशन फीस ऑनलाइन जमा होगी। शपथ पत्र और अन्य पेपर रिटर्निंग ऑफिसर के समक्ष दायर होंगे। अनावश्यक वाहनों पर अंकुश के लिए भी गाइडलाइन जारी की।
15 जनवरी तक आयोग ने स्टार प्रचारकों पर भी प्रतिबंध लगाया है। इस पर कोर्ट ने केंद्रीय चुनाव आयोग से कहा कि महामारी को देखते हुए स्वयं संज्ञान लें। कोरोना के केसों को देखते हुए कोर्ट ने राज्य सरकार को निर्देश दिए हैं कि सीनियर सिटीजन को बूस्टर डोज उनके घरों पर ही लगाई जाए। जो लोग बूस्टर डोज लगाने के लिए वैक्सीनेशन सेंटर जा सकते हैं, उन्हें यह डोज सेंटर में लगाई जाए।
जिला निगरानी कमेटियों की रिपोर्ट के बारे में सरकार की तरफ से मुख्य स्थायी अधिवक्ता चंद्रशेखर रावत ने कहा कि उनके पास 13 में से 9 जिला निगरानी कमेटियों की रिपोर्ट आ गयी है। जिसका निरीक्षण करना अभी बाकी है। इस पर कोर्ट ने सरकार से कहा है कि इसका निरीक्षण कर इसकी एक रिपोर्ट तैयार कर कोर्ट में पेश करें।