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सड़क सुरक्षा की शिक्षा पर ‘‘किड्स कार्निवल’’ का आयोजन

देहरादून। होंडा मोटरसाइकल एंड स्‍कूटर इंडिया (एचएमएसआई) ने सड़क के माहौल को ज्‍यादा सुरक्षित बनाने के लिये अपनी प्रतिबद्धता जारी रखी है। इस कड़ी में कंपनी ने सड़क सुरक्षा की शिक्षा पर केन्द्रित एक रोचक ‘‘किड्स कार्निवल’’ का आयोजन किया। यह कार्यक्रम बच्‍चों को यातायात सुरक्षा की आवश्‍यक जानकारी देने के लिए किया गया था। यह 2050 तक यातायात दुर्घटनाओं से होने वाली मौतों को शून्‍य करने के लिये होंडा के वैश्विक दृष्टिकोण से बखूबी मेल खाता है। एचएमएसआई ने सड़क सुरक्षा पर जागरूकता को बढ़ावा देने के लिये उल्‍लेखनीय कदम उठाये हैं। कंपनी ने यह काम 2030 तक सड़क पर होने वाली मौतों को आधा करने के लिये भारत सरकार के लक्ष्‍य की दिशा में किया है। किड्स कार्निवल का आयोजन भारत में एचएमएसआई के सभी चार संयंत्रों में हुआ- तापुकारा (राजस्‍थान), विठलापुर (गुजरात), नारसापुरा (कर्नाटक) और आईएमटी मानेसर, गुरुग्राम, हरियाणा में कंपनी की ग्‍लोबल रिसोर्स फैक्‍ट्री में इसका समापन हुआ। इसमें बच्‍चों के लिये संवादपरक एवं मजेदार गतिविधियाँ आयोजित की गई थीं, जो उन्‍हें सड़क सुरक्षा के महत्‍व पर शिक्षित करने के लिये थीं। यातायात के नियमों और सड़क के संकेतों से लेकर सड़कों पर जिम्‍मेदारी से व्‍यवहार करने के महत्‍व तक, बच्‍चों को बड़े दिलचस्‍प तरीके से यह अनिवार्य सबक सिखाये गये। किड्स कार्निवल गतिविधि में सरकारी तथा प्राथमिक स्‍कूलों के 1100 से अधिक विद्यार्थी एवं शिक्षक शामिल हुए। इसका लक्ष्‍य बच्‍चों के बीच सड़क पर सुरक्षा की संस्‍कृति को बढ़ावा देना था। कक्षा 5 और 6 के विद्यार्थियों के साथ उनके शिक्षक थे। उन्‍होंने संवादपर‍क गतिविधियों में सक्रियता से भाग लिया। यह गतिविधियाँ उन्‍हें शिक्षित करने और सड़क सुरक्षा का एंबेसेडर बनने की ताकत देने के लिये थीं।

एचएमएसआई का सड़क सुरक्षा शिक्षा कार्यक्रम वैज्ञानिक आधार पर खोजे गये सीखने के तरीकों से तैयार किया गया है। इसमें सीखने की प्रक्रिया मजेदार, लेकिन सूचनापरक हो जाती है। सड़क सुरक्षा पर आधारित नाटक: विद्यार्थियों ने विशेष रूप से तैयार किये गये नाटकों में काम किया। इनमें सड़क सुरक्षा के विभिन्‍न पहलू शामिल थे और इस तरह सीखने की प्रक्रिया संवादपरक एवं प्रासंगिक हो गई। विशेष रूप से तैयार की गई फिल्‍में दिखाकर बच्‍चों के बीच सड़क के सुरक्षित इस्‍तेमाल को लेकर सकारात्‍मक सोच पैदा की गई। सड़क सुरक्षा की अवधारणाओं को मजेदार तथा यादगार तरीके से समझाने के लिये बच्‍चों को खुश करने वाली गतिविधियों का आयोजन हुआ। एचएमएसआई समाज के सभी वर्गों के बीच सड़क पर सुरक्षा का प्रचार करने पर मजबूती से ध्‍यान दे रही है। स्‍कूली बच्‍चों से लेकर कॉर्पोरेट्स और बड़े पैमाने पर समाज तक, हर वर्ग के लिये उसके पास अनूठे आइडिया हैं।

एचएमएसआई के कुशल सुरक्षा प्रशिक्षक भारत में हमारे द्वारा गोद लिये गये 10 ट्रैफिक ट्रेनिंग पार्क्‍स (टीटीपी) और 6 सेफ्टी ड्राइविंग एज्‍युकेशन सेंटर्स (एसडीईसी) में रोजाना कार्यक्रम चलाते हैं। यह काम सड़क पर सुरक्षा की शिक्षा को समाज के हर हिस्‍से तक पहुँचाने के लिये होता है और इस पहल ने 90 लाख से ज्‍यादा भारतीयों तक पहुँच बनाई है। कार्यक्रम में भाग लेने वाले लोगों को खतरे के पूर्वानुमान का प्रशिक्षण दिया गया, जिसका नाम है किकेनयोसोकु ट्रेनिंग (केवायटी)। इससे खतरे के प्रति ड्राइवर की चेतना बढ़ाने में मदद मिलती है और सड़कों पर ड्राइविंग का सुरक्षित बर्ताव सुनिश्चित होता है। मौजूदा ड्राइवरों की राइडिंग में कुशलताएं बेहतर बनाना: अनुभवी राइडर्स के लिए धीरे राइड करने की गतिविधियों तथा संकरे पट्टों पर राइडिंग के द्वारा उनके कौशल को निखारा गया। एचएमएसआई ऐसी कंपनी बनना चाहती है, जिसे समाज पसंद करे और उसे अपना समर्थन दे। कंपनी भविष्‍य की पीढ़ी को अधिक सुरक्षित एवं जिम्‍मेदार बनाना चाहती है।

सड़क सुरक्षा पर आधारित अभिनव तथा रोचक कार्यक्रमों के माध्‍यम से एचएमएसआई लगातार समाज के विभिन्‍न वर्गों पर गहरा असर डाल रही है। एचएमएसआईने हाल ही में अपना अभिनव डिजिटल रोडसेफ्टी लर्निंग प्‍लेटफॉर्मई-गुरुकुल भी लॉन्‍च किया था। यह ई-गुरुकुल प्‍लेटफॉर्म 5 से लेकर 18 साल तक के तीन खास आयु समूहों के लिये तैयार किये गये प्रशिक्षण के मॉड्यूल्‍स देता है और सड़क पर सुरक्षा का विस्‍तृत तरीका सुनिश्चित करता है। अभी यह मॉड्यूल्‍सकई भाषाओं में उपलब्‍ध हैं, जैसे कि कन्‍नड़, मलयालम, हिन्‍दी, तेलुगू, तमिल और अंग्रेजी।

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